देवता ब्राह्मण राष्ट्र और गौ माता का सम्मान इस देश में सबको करना चाहिए, रघुवंशियो ने भी इन चारों का सम्मान किया इसलिए वह महान है । यहां पर अगर रहना है तो अकबर या या बाहर के बनकर नहीं रहना है रघुवर के बनके रहना है । यह संदेश श्री राम राज फाउंडेशन और हनुमान सेवा न्यास की ओर से आरंभ हुई श्री राम कथा में जगद्गुरु रामभद्राचार्य ने श्रोताओं से कहा।
श्री रामभद्राचार्य ने पहले दिन राजा दिलीप से लेकर आज तक की कथा सुनाई उन्होंने कहा कि जिसने गौ माता की परिक्रमा की उसने 33 कोटि देवताओं की परिक्रमा कर ली है क्योंकि गौमाता में देवताओं का वास वास होता है उन्होंने श्रोताओं दर्शकों से श्रद्धालुओं से कहा कि ब्रह्मांड की संस्कृति के मूल में रघुवंशी हैं और हमें उनके तौर-तरीके अपनाने होंगे।
श्री रामकथा के दौरान गुरु जी ने रघुकुल के वंश का परिचय देते हुए कहा की रघुवंशी चार विधाओं का बहुत सम्मान करते हैं एक ब्राह्मण , एक राष्ट्र एक गौमाता और एक ईश्वर का । राम जैसा व्यक्तित्व न कभी आया न आएगा , ब्रह्मांड की संस्कृति के मूल में श्री राम ही है ।
कथा के प्रथम दिन धीरे धीरे पंडाल भर गया और कथा सुनने वालों की संख्या का अनुमान 5 हज़ार है । सभी व्यवस्थाओं जैसे जल , पार्किंग , बैठक इत्यादि का विशेष ध्यान रखा गया और कथा बहुत ही सुचारू रूप से चली ।
कथा के प्रथम दिन जेवर विधायक धीरेंद्र सिंह की उपस्थिति ने सबको चौंका दिया आयोजकों ने इस कार्यक्रम में राजनीतिक उपस्थिति को आरंभ में इनकार किया गया था । किंतु जेवर विधायक धीरेंद्र सिंह के कार्यक्रम में के उद्घाटन सत्र में मौजूद रहने से नोएडा में एक बार फिर से राजनीतिक सरगर्मियां बढ़ गई हैं कार्यक्रम में मौजूद पत्रकारों और कई गणमान्य के बीच यह चर्चाएं शुरू हो गई धीरेंद्र सिंह ने अपने लक्ष्य की ओर कदमों को तेज कर दिया है ।
धीरेंद्र सिंह ने एनसीआर खबर से विशेष बातचीत में बताया कार्यक्रम के आयोजनकर्ता युवा हैं वह सहयोग के लिए हमारे पास आए थे इसके बाद इस कार्यक्रम की व्यवस्था को सुचारू करवाने में उन्होंने सहयोग किया । इसके राजनीतिक निहितार्थ निकालना गलत है । मेरी जगतगुरु रामभद्राचार्य जी से मिलने की इच्छा थी और इस कार्यक्रम के बहाने वह पूरी हो गई