बटटलबालियां(उधमपुर)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को रियासत में पहले चरण में हुए रिकार्ड तोड़ मतदान के लिए बधाई देते हुए कहा कि पूरी दुनिया को पता चल गया है कि जम्मू कश्मीर के लोगों के दिलों में क्या है। जो लोग बुलेट के जोर से बैलेट को दबाया करते थे, लोगों ने बटन दबाकर उनका परिचय बैलेट से करवा दिया है।
रिकार्ड मतदान से बौखलाए आतंकी
आज यहां चुनावी जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने अरनिया सेक्टर में आतंकी हमले का नाम लिए बगैर कहा कि जिस तरह से पहले दौर में मतदान हुआ है,उससे आतंकी बौखलाए हैं। आतंकियों को लोकतंत्र की ताकत का अहसास हो गया है। उन्हें पता चल गया है कि जम्मू कश्मीर की जनता डरने वाली नहीं है, जम्मू कश्मीर के लोगों की आस्था लोकतंत्र में ही है।लोगों ने लोकतंत्र को जिताया है।
पूरी दुनिया में बज रहा भारत का डंका
उन्होंने कहा कि आज पूरी दुनिया में भारत का डंका बज रहा है। इसके साथ ही उन्होंने लोगों से मुखातिब होते पूछा कि चारों तरफ भारत का जय-जयकार क्यों हो रहा है तो भीड़ द्वारा मोदी का नारा लगाए जाने पर उन्होंने कहा कि इसका कारण मोदी नहीं है। यह आपके कारण हो रहा है, सवा सौ करोड़ देशवासियों के कारण हो रहा है। क्योंकि देशवासियों ने ही दिल्ली में बहुमत वाली सरकार बनाई है। जब कोई मुझसे हाथ मिलता है तो उसे मोदी नहीं बल्कि सवा सौ करोड़ भारतवासी नजर आते हैं।
विकास के लिए यहां खिलाने होंगे कमल
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि अगर जम्मू कश्मीर की भी पूरे देश में जय-जयकार करानी हे तो फिर यहां भी पूर्ण बहुमत वाली भाजपा सरकार बनानी होगी। यहां की सारी बिमारियों को अगर दूर करना है तो भाजपा को बहुमत देना होगा। मैं आपको यकीन दिलाता हूं कि मैं आपके विकास के लिए दिनरात काम करुंगा।
नेताओं की आदत बन गया है भष्ट्राचार
तीस मिनट के अपने भाषण में उन्होंने सत्ताधारी नेशनल कांफ्रेंस और पीपुल्स डेमोक्रेकिट पार्टी को नाम लिए बगैर निशाना बनाया और कहा कि यहां तो राजनीतिक दलों की आदत ही लूट हो गई है,कभी यह दल तो कभी वह दल। यह लोग जनता के लिए कुछ बचने ही नहीं देते। दिल्ली से पैसा भेजने वालों के लिए भी और यहां पैसा पाने वालों के लिए भी यह एक कारोबार बन गया था। इसे रोकना है।
जनता तक पहुंचे जनता का पैसा
प्रधानमंत्री ने कहा कि हम इस बात को यकीनी बनाएंगे कि जनता का पैसा जनता की जेब में जाए। जम्मू कश्मीर के विकास के लिए नई दिल्ली से पैसे की मदद को नहीं रोका जाएगा,लेकिन यह पक्का किया जाएगा कि पैसा जिस काम के लिए है, वहां खर्च हो। इसलिए मैने वह सभी पेंच कस दिए हैं,जहां से इसकी लूट हो सकती थी। इसलिए आज यहां सत्ताधारी हों या विपक्ष सभी पार्टियां मेरी आलोचना कर रही हैं। क्योंकि दोनों की खाने की जो राजनीति है,उसमें मोदी रुकावट बन गया है।
देना होगा पाई-पाई का हिसाब
उन्होंने प्रधानमंत्री राजीव गांधी का जिक्र भी करते हुए कहा कि राजीव गांधी कहा करते थे नई दिल्ली से एक रुपया निकलता है लेकिन गांव में पहुंचते पहुंचते 15 पैसा रह जाता है। यह हमने नहीं कांग्रेस के प्रधानमंत्री ने कहा था। उस समय गांव से लेकर केंद्र तक कांग्रेस की सरकार थी। यह 85 पैसे कौन खाता था, वो कौन लुटेरे थे, यह जनता के पैसे को किसने लूटा। कांग्रेस हो, नेशनल कांफ्रेंस हो पीडीपी हो, भाईयो जनता सबकुछ जानती है। अगर दिल्ली से आया पैसा अगर जम्मू कश्मीर के लोगों के खाते में जमा हुआ होता तो यहां हालात ही कुछ और होते। यह पैसा कुछ ही परिवारों के हाथ में गया है। जनता के लूटे हुए पैसे की एक-एक पाई को वापस लाना है।
विकास की योजनाओं के साथ यहां आता हूं
उन्होंने जम्मू कश्मीर में बार बार अपने दौरों का जिक्र करते हुए कहा कि मुझसे पहले भी यहां कई प्रधानमंत्री आए हैं, लेकिन जम्मू, कश्मीर और लददाख के लोगों से बार बार मिलने का जो सौभाग्य मुझे मिला है,वह मुझसे पहले किसी और प्रधानमंत्री को प्राप्त नहीं हुआ है। मुझसे पहले प्रधानमंत्री अपने कार्यकाल में एक या दो बार ही यहां आते थे और लोग बड़े गर्व से कहते थे कि प्रधानमंत्री आए थे, लेकिन ऐसा कोई प्रधानमंत्री नहीं जो हर माह यहां आया हो। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मैं जब भी यहां आया विकास की योजना के साथ आया, विकास की बात लेकर आया हूं, या फिर मुसीबत के समय आपके साथ खड़ा होने आया। आपके आंसू पोंछने आया। जब यहां बाढ़ आई तो मैने यहां पहुंचने में एक पल भी नहीं गंवाया। मैने पूरी सरकारी मशनीरी को आपकी सेवा में लगाया है।
बाढ़ पीडि़तों के साथ मनाई दिवाली
उन्होंने कहा कि दिवाली एक ऐसा त्यौहार होता है,जिसे हरेक अपने परिवार के साथ मनाना चाहता है। लेकिन मैने दुखियारे परिवारों के साथ इसे मनाने का फैसला किया और श्रीनगर आया। उन्होंने कहा कि यह कोई राजनीति नहीं है, मुझे वोट बटोरने के लिए भी यह सब करने की जरुरत नहीं है। मैं यह सब इसलिए कर रहा हूं कि 30 साल हो गए जम्मू कश्मीर में विकास का रथ रुके हुए। उसे गति देनी है। जनभावनाओं के शोषण और ब्लैकमेल के साथ भ्रष्टाचार की स्थानीय नेताओं की आदत को समाप्त करना है। पिछले 30 सालों में जो नहीं हो पाया मैं उसे पांच साल में कर दिखाऊंगा।