निकाय चुनाव में होने वाले मतदान के लिए प्रचार का आज आखिरी दिन है गौतम बुध नगर और गाजियाबाद दोनों जिलों में पार्टियां इसके लिए हैं तैयारियां कर रही हैं दादरी नगर पालिका में जहां कांग्रेस की ओर से पंखुड़ी पाठक के रोड शो और प्रचार निर्देशित किया गया है, वहीं भाजपा और समाजवादी पार्टी भी अपने प्रचार के आखिरी चरण में पूरी ताकत झोंकने को तैयार बैठी है जानकारी के अनुसार भाजपा के नोएडा ग्रेटर नोएडा के सभी संगठन के लोगों को प्रचार के लिए तैयार रहने को कह दिया गया हालांकि बीते दिनों में जिस तरीके से संगठन की उपेक्षा की गई है उसे संगठन के काफी लोग नाराज भी है ।
सपा के हम चुनाव से हट जाएंगे कार्ड पर लोगो की चुटकियां, लोगो ने कहा हम उठ जाएंगे वाला डायलॉग आया याद
दादी चुनाव में मंगलवार को समाजवादी पार्टी के नेताओं का एक दल कमिश्नर मुख्यालय पर पहुंचा और उनसे पुलिस के बढ़ते दबाव के बदले अपने प्रत्याशी के बैठ जाने विज्ञापन को भी दिया पार्टी के प्रवक्ताओं ने कहा कि जिस तरीके से पुलिस भाजपा प्रत्याशी के पक्ष में विपक्षी नेता अयूब मलिक और उनके स्तर पर दबाव बना रही है उससे बेहतर है की पार्टी अपना प्रत्याशी हटा ले इस घटना के बाद जहां दादी नगर पालिका चुनाव का माहौल गरमा गया वही पार्टी विरोधी लोगों ने इस पर चुटकी लेने से भी गुरेज नहीं किया पार्टी की पतली हालत को देखते हुए हताशा में उठाया कदम बताया तो कई लोगो ने इसे महज बंदर घुड़की वाली धमकी बताया ।
भाजपा प्रत्याशी को विपक्ष से नहीं अपनो से खतरा
पार्टी के विद्रोही नेता जग भूषण के चुनाव लड़ने और उसके बाद लापता हो जाने के बाद भी जिस तरीके से पार्टी को अपने समर्थकों को वापस लाने में मेहनत करनी पड़ रही है उसके बाद पार्टी के नेताओं का एक वर्ग कह रहा है कि पार्टी अगर हारेगी तो कार्यकर्ताओं द्वारा प्रत्याशी के निजी विरोध और पार्टी के बागी नेताओं की जिद से हारेगी। हालांकि पार्टी हारेगी की बात पर ही कई नेता बात बदलते हुए नजर आने लगते हैं नेताओं का कहना है कि पार्टी हर हाल में चुनाव जीतेगी । नहीं जीतेगी तो भी जिताने का पूरा प्रयास किया जाएगा । वहीं पार्टी के अंदर ही संगठन के नेताओं के सम्मान को लेकर भी काफी प्रश्न उठ रहे हैं हालात यह है कि जिले के 11 मंडल अध्यक्ष में महज तीन से चार मंडल अध्यक्ष चुनाव प्रचार में दिखाई दे रहे हैं 2 दिन पहले हुए एक कार्यक्रम में जिला अध्यक्ष को ही मंच पर कुर्सी ना मिलने की भी चर्चाएं दबे स्वर में हो रही हैं कुछ लोगों का कहना है कि निकाय चुनाव के फौरन बाद अध्यक्ष के बदले जाने की चर्चाएं जोरों पर हैं ऐसे में इस चुनाव में जिलाध्यक्ष और उनके समर्थकों को बस घर-घर प्रचार पर लगाया जा रहा है ।
संभासदो में निर्दलीय प्रत्याशियों की चांदी
वहीं वार्ड मेंबर के चुनाव में भी भाजपा के प्रत्याशियों की हालत बहुत बेहतर नहीं है माना जा रहा है कि बीते पिछली बार महज तीन सभासद लाने वाली भाजपा इस बार भी 2 डिजिट में सभासद नहीं जिता पा रही है । पार्टी को 10 सीटों पर विपक्ष की जगह अपने ही बागी प्रत्याशियों से हार का डर सता रहा है हालांकि पार्टी बाद में बाकी प्रत्याशियों को भाजपा में लेकर बचाव करती दिख रही है हालात इस कदर खराब है कि पार्टी ने विधायक तेजपाल नागर के अपने वार्ड में पार्टी ने प्रत्याशी तक खड़ा करना उचित नहीं समझा है । बताया जाता है कि वहां भाजपा समर्थित चार प्रत्याशी खड़े हैं ऐसे में पार्टी जीतने वाले प्रत्याशी को ही अपना प्रत्याशी घोषित कर देगी ।