बेहद तेजी से आगे बढ़ रहा चक्रवाती तूफान फैलिन ओडिशा और आंध्र प्रदेश में शनिवार शाम तक दस्तक दे सकता है।
माना जा रहा है कि यह तूफान अमेरिका में 2005 में भीषण कहर बरपाने वाले ‘कैटरीना’ से भी ज्यादा खतरनाक हो सकता है और इसमें 300 किमी प्रति घंटा से ज्यादा रफ्तार की हवाएं चल सकती हैं।
फैलिन की चपेट में देश का आधे से ज्यादा हिस्सा आ सकता है। इस तूफान से भारी तबाही की आशंका को देखते हुए आंध्र और ओडिशा में लाखों लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है।
तीनों सेनाओं को तैयार रहने के लिए कहा गया है। आंध्र, ओडिशा के साथ ही पश्चिम बंगाल में राष्ट्रीय आपदा कार्रवाई बल (एनडीआरएफ) की टीमें भी तैनात की गई हैं।
तूफान से 1.2 करोड़ लोगों के प्रभावित होने की आशंका जताई जा रही है। फैलिन के खौफ ने ओडिशा में 1999 में आए उस तूफान का मंजर लोगों को फिर याद करा दिया है।
इसमें भारी तबाही हुई थी और करीब 10 हजार लोग मारे गए थे। फैलिन फिलहाल तट से 400 किमी दूर बंगाल की खाड़ी में केंद्रित है और यह 15 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से ओडिशा की ओर बढ़ रहा है।
माना जा रहा है कि यह तूफान पारादीप और कलिंगापटनम को पार कर शनिवार शाम छह बजे तक ओडिशा में गोपालपुर की ओर से दस्तक देगा।
इसकी वजह से समुद्र में तीन मीटर तक ऊंची लहरें उठने और भारी बारिश की भी आशंका है। तूफान के प्रभाव से ओडिशा में शुक्रवार को 65 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से हवाएं चलना शुरू हो गईं।
रुक रुक कर बारिश भी होती रही। अमेरिकी नेवी के संयुक्त तूफान चेतावनी केंद्र और ब्रिटेन के ट्रॉपिकल स्टॉर्म ने फैलिन तूफान को सबसे खतरनाक श्रेणी 5 में रखते हुए 315 किमी प्रति घंटा की रफ्तार से हवाएं चलने की चेतावनी दी है।
ओडिशा सरकार ने स्वास्थ्य विभाग समेत अन्य कर्मचारियों की छुट्टियां रद्द कर दी हैं। तट के पास स्थिट सात जिलों गंजम, गजपति, पुरी, जगतसिंहपुर, केंद्रपाड़ा, नयागढ़ और खुर्दा जिलों को पूरी तरह खाली कराया जा रहा है।
लोगों को भोजन और शरण देने के लिए शिविर तैयार किए जा रहे हैं। रक्षा मंत्री एके एंटनी ने तीनों सेनाओं को स्थिति से निपटने के लिए पूरी ताकत झोंकने का निर्देश दिया है।
वायुसेना के दो आईएल-76 विमान से एनडीआरएफ की टीमों को भुवनेश्वर पहुंचा दिया गया है। भुवनेश्वर में सेना का कमान व नियंत्रण केंद्र भी बनाया जा रहा है।