
लखनऊ व कानपुर से सटे एक जिला के अध्यक्ष नहाने जा रहे थे कि उनका मोबाइल फोन बज उठता है। वह हैलो बोलते हैं। दूसरी तरफ से आवाज आती है, ‘नमस्कार! मैं अमित शाह बोल रहा हूं।क्या हालचाल हैं और संगठन का कार्य कैसा चल रहा है?’ जिलाध्यक्ष जवाब देते हैं, ‘भाई साहब काम ठीक से चल रहा है। बूथ कमेटियों के गठन का काम तेजी से चल रहा है।
जल्दी ही काम पूरा हो जाएगा।’ उधर से शाह कहते हैं, ‘ध्यान रखिएगा कि बूथ कमेटियों पर सभी सदस्यों के भी नंबर लिस्ट में रहें। जिससे उनसे भी बातचीत करके जानकारी कर सकूं।’ नेता जी, ‘जी ठीक है’ कहते हैं और फोन कट जाता है।
बुंदेलखंड के एक जिले के प्रभारी घर पर बैठे बातचीत कर रहे थे। इसी बीच उनका फोन बजता है। उनके फोन पर दूसरी तरफ वही अमित शाह की आवाज, ‘…नमस्कार! …जी कैसे हैं? परिवार में सब लोग ठीक हैं? ’ प्रभारी कहतेे हैं, ‘जी भाई साहब ठीक हूं।’शाह पूछते हैं, ‘ संगठन की क्या प्रगति हैं?’ प्रभारी जवाब देते हैं, ‘मंडलों (ब्लाकों) तक काम पहुंच गया है। पर, अभी सभी गांवों में नहीं पहुंच पाया है।’ शाह कहते हैं, ‘अब गांव में संगठन की इकाइयों की बहुत चिंता न करें।
ब्लाक तक संगठन की सक्रियता पर जोर दें। गांव में पूरा संगठन खड़ा करने के बजाय किसी वरिष्ठ कार्यकर्ता को गांव का प्रभारी बना दें। उस गांव में न हो तो पड़ोस से किसी कार्यकर्ता को वहां लगाएं।
हां! एक बात और 20 अगस्त तक सभी ब्लाक कमेटियों की बैठक जरूर हो जाए। साथ ही पार्टी के जो पुराने लोग घर बैठे हैं। उनसे मिलकर, उनका कष्ट पूछकर संगठन के साथ जरूर सक्रिय करिये।
अभी शाह ने इन लोगों से सीधे बात की है। कल भाजपा के किसी दूसरे पदाधिकारी, नेता व बूथ प्रभारी के फोन पर शाह की आवाज गूंज सकती है। भाजपा ने सांगठनिक लिहाज से गठित 80 जिला व महानगर अध्यक्षों व इतने ही प्रभारियों की नियुक्ति की है।
सभी प्रभारियों से हो सकती है बात
शाह फोन के जरिये किसी एक या दो जिलाध्यक्षों या जिला प्रभारियों को नहीं बल्कि सभी 180 लोगों से बात करने वाले हैं। शाह जिले के दूसरे पदाधिकारियों, ब्लाकों के पदाधिकारियों से लेकर गांव व बूथ के कार्यकर्ताओं से भी पार्टी का हाल ले सकते हैं।
मोदी भी कर सकते हैं फोन
सिर्फ शाह ही नहीं आने वाले दिनों में भाजपा के किसी दूसरे बड़े नेता का फोन भी किसी पदाधिकारी, प्रमुख कार्यकर्ता अथवा विभिन्न स्तर पर पद संभाल रहे किसी अन्य व्यक्ति के पास आ सकता है।जिनमें गुजरात के मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी की भी हो सकती है और भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजनाथ सिंह की भी। भाजपा के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. लक्ष्मीकांत वाजपेयी भी फोन पर जानकारी लेने के लिए हो सकते हैं और कोई दूसरा भी।
पर, जवाब में गलत जानकारी मुसीबत भी पैदा कर सकती हैं। कारण, शाह या शाह की टीम का कोई दूसरा सदस्य अन्य किसी कार्यकर्ता से बात करके उससे सूचना का क्रॉस चेक भी करेगा।