ढाका के सोनारगांव पैनपैसिफिक होटल के बाहर सोमवार को एक देसी बम फेंका गया. राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी इसी होटल में ठहरे हैं.
तेजगांव पुलिस थाने के प्रभारी अपूर्व हसन ने कहा कि दोपहर करीब दो बजे हुए इस विस्फोट में कोई घायल नहीं हुआ.
सुरक्षा और कड़ी
उन्होंने कहा कि दो लोग मोटरसाइकिल पर आए और उन्होंने होटल से करीब 50 गज की दूरी पर स्थित दक्षेस फाउंडेशन के पास टोपी में ढका एक बम फेंका.
उन्होंने कहा कि दोनों लोग फरार होने में कामयाब रहे और इस संबंध में किसी की गिरफ्तारी नहीं हुई है.
घटना के बाद होटल के आसपास सुरक्षा और कड़ी कर दी गई है.
फिलहाल यह स्पष्ट नहीं है कि बांग्लादेश के तीनदिवसीय राजकीय दौरे पर आए राष्ट्रपति होटल के अंदर थे या नहीं.
इस घटना से एक दिन पहले कट्टरपंथी संगठन जमात ए इस्लामी ने 1971 युद्ध अपराध के मामलों में उसके तीन शीर्ष नेताओं को सजा के खिलाफ 48 घंटे की हड़ताल आहूत की थी.
इस बीच, राष्ट्रपति के प्रेस सचिव वेणु राजामणि ने एक बयान में कहा कि बांग्लादेश के अधिकारियों ने सूचित किया है कि करीब एक घंटा पहले एक देसी विस्फोटक पाया गया और वे इस मामले की जांच कर रहे हैं.
बांग्लादेश में आम बात है
बयान में कहा गया कि प्रतिनिधिमंडल के किसी भी सदस्य ने किसी विस्फोट की आवाज नहीं सुनी और ना ही किसी को इस तरह की घटना के बारे में पता है.
इसमें कहा गया कि भारतीय सुरक्षा अधिकारियों का नजरिया है कि यह छोटा धमाका था. हड़ताल के दौरान इस तरह के सामान्य विस्फोटक का धमाका बांग्लादेश में आम बात है और इसे बम नहीं कहा जा सकता.
बयान में कहा गया कि ढाका में जिस होटल में राष्ट्रपति ठहरे हैं उस होटल में और इसके आसपास जिंदगी पूरी तरह से सामान्य है.
राष्ट्रपति ने सुबह ढाका विविद्यालय में खुले पंडाल में 10 हजार छात्रों को संबोधित किया.
बांग्लादेश के राष्ट्रपति और विविद्यालय के कुलपति द्वारा उन्हें डाक्टरेट की मानद उपाधि से सम्मानित किया गया.