राजेश बैरागी । आगामी 11 जून को नोएडा के सेक्टर 11 में चार वर्ष बाद होने जा रहे आरडब्ल्यूए चुनाव में क्या खास है? दरअसल वर्षों से जमे बैठे और कथित तौर पर भ्रष्ट पदाधिकारियों के समक्ष एक पत्रकार लेखिका और उसकी टीम ने मोर्चा खोल दिया है।
नोएडा के सेक्टर 11 में आगामी 11 जून को आरडब्ल्यूए का चुनाव होना निश्चित हुआ है। अध्यक्ष सहित सोलह पदों पर होने वाले चुनाव के लिए दो पैनलों के बत्तीस उम्मीदवार मैदान में हैं। इनमें एक पैनल वर्षों से आरडब्ल्यूए पर कब्जा जमाए बैठे लोगों का है। दूसरे पैनल का नेतृत्व पत्रकार लेखिका अंजना भागी कर रही हैं। उनकी टीम में स्वयं उनके सहित तीन महिलाएं इंदु बाला शर्मा व रितु दुग्गल शामिल हैं। अन्य उम्मीदवार घनश्याम चौहान,आर के शर्मा,बी एस शर्मा, राजीव राना,जे सी गुप्ता, अशोक शर्मा,सुधीर गुप्ता, सतीश माथुर, विक्रम सोनी, सीताराम, अशोक सिंह,धीर सिंह व नितिन पांडेय हैं।
स्वयं अंजना भागी आठ महीने आरडब्ल्यूए की महासचिव रह चुकी हैं।उस दौरान उन्होंने दिन रात की परवाह किए बगैर सेक्टर निवासियों की समस्याओं का प्राधिकरण और बिजली विभाग आदि से समाधान कराया परंतु शेष आरडब्ल्यूए पदाधिकारियों के कथित भ्रष्टाचार और अपारदर्शिता को देखते हुए उन्होंने पद छोड़ दिया।
निवर्तमान आरडब्ल्यूए के पास कोई हिसाब किताब नहीं है,वे इसे अपनी निजी फर्म की भांति चलाते हैं, सेक्टर में तमाम समस्याएं हैं परंतु उनका ध्यान बारात घर और सदस्यता शुल्क से होने वाली कमाई पर है,
उल्लेखनीय है कि नोएडा की खास लोकेशन पर बसे सेक्टर 11 में कुल 589 मकान हैं। इनमें से 527 घरों में लोग रहते हैं परंतु आरडब्ल्यूए सदस्यों की संख्या मात्र 371 है। बताया गया है कि आरडब्ल्यूए के क्रियाकलापों को देखते हुए बहुत से निवासी सदस्यता लेने को ही तैयार नहीं हैं।खास बात यह है कि वर्षों से शारीरिक रूप से कमजोर हो चुके व्यक्ति को अध्यक्ष पद पर बैठा कर दूसरे पदाधिकारी आरडब्ल्यूए के माध्यम से अपना उल्लू सीधा करने में जुटे हुए हैं।