ग्रेटर नोएडा अथार्टी से हाई कोर्ट का सवाल : उधोगो को कहां से उपलब्ध कराते हैं जल
इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ ने ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण से उसके क्षेत्र में स्थापित उद्योगों के लिए जल उपलब्ध कराने के मुद्दे पर सवाल पूछे कोर्ट ने पूछा आखिर इन उद्योगों को जल कहां से मिलता है इकाइयों के जल उपलब्ध कराने के लिए कर क्या नियम ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण ने निर्धारित किए हैं मामले की अगली सुनवाई अब 23 नवंबर को होगी
हाई कोर्ट जस्टिस विवेक चौधरी की एकल पीठ ने सुपरटेक प्रीकास्ट टेक्नोलॉजी प्राइवेट लिमिटेड की ओर से दाखिल एक याचिका पर आदेश देते हुए कहा कि याची के अधिवक्ता अभिषेक खरे ने कोर्ट में कंपनी को जल उपलब्ध ना करें जाने का विषय उठाया याची ने प्राधिकरण से इंडस्ट्री लगाने के लिए लीज पर भूमि प्राप्त की लेकिन जब पानी उपलब्ध कराने की बात आई तो प्राधिकरण ने मना कर दिया
सुनवाई के मध्य में ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी के अधिवक्ता प्रशांत कुमार ने कोर्ट को बताया कि औद्योगिक इकाइयों को जल मुहैया करवाने का कार्य उसका नहीं है वहीं राज्य सरकार की तरफ से बताया गया कि ग्रेटर नोएडा अथॉरिटी से इस संबंध में पॉलिसी की जानकारी मांगी गई है सभी पक्षों को सुनने के बाद हाईकोर्ट ने जमीन खाली कराए जाने पर अंतरिम रोक लगाते हुए ग्रेटर नोएडा औद्योगिक विकास प्राधिकरण से पूछा है कि वह उद्योगों को जल कैसे उपलब्ध करवाती है इस संबंध में उसके प्रावधान क्या है