बीते दिनों एक दावा भारत में काफी सुनाई दिया को इटली के एक सीनियर डॉक्टर का मानना है कि अब वायरस कमजोर हो चुका है और इसके इन्फेक्शन से मौत की संभावना कम होने लगी है। दूसरी ओर विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इस दावे को खारिज किया है।
जेनोआ के सैन मार्टीनो अस्पताल में संक्रामक बीमारियों के क्लिनिक के हेड मैशियो बसेटी का भी यही कहना है कि दो महीने पहले वायरस जितना शक्तिशाली था, अब नहीं है। लेकिन विश्व स्वास्थ्य संगठन ने इस दावे को खारिज किया है। WHO का कहना है कि ऐसी धारणाएं नहीं फैलनी चाहिए कि वायरस अचानक से अपने आप कमजोर हो गया है।
डब्ल्यूएचओ के दावे के बाद कोरोना के कमजोर होने की कोई भी बात से उत्साहित होने की जगह अभी भी धैर्य पूर्वक उससे लड़ाई लड़ने की जरूरत है