main newsएनसीआरदिल्लीनोएडा

संस्मरण : गोपाल दास नीरज जी जब भी दिल्ली आते या अलीगढ़ वापस लौटते, मेरे नोएडा घर पर कुछ देर जरूर रुकते

एन सी आर खबर डेस्क I प्रसिद्ध कवि गोपाल दास नीरज जी के महाप्रस्थान से हिंदी गीतों का एक युग ढह गया जिसकी पूर्ति होना असंभव है! उनको लेकर तमाम लोगो ने अपनी श्रधासुमन अर्पित किये है I नॉएडा में रहने वाले समाजसेवी , और राज्यसभा सासंद आर के सिन्हा ने याद करते हुए कहा कॉंरवॉं गुज़र गया ग़ुबार देखते रहे” जैसी कालजयी गीत के रचयिता पद्मभूषण गोपालदास नीरज को रोमॉंटिक गीतों का रचयिता माना जाता रहा है। लेकिन जितना नीरज को मैंनें जाना और पचासों कवि सम्मेलनों में सुना, मैं तो उन्हें”सौन्दर्य और आध्यात्म “ का अद्भुत गीतकार और शायर ही कहूँगा

दादा जब भी दिल्ली आते या अलीगढ़ वापस लौटते, मेरे नोएडा घर पर कुछ देर जरूर रुकते। कभी देर हो जाती तो रात को वहीं सो भी जाते। पिछले ४ जनवरी को जब मैं उनके जनकपुरी, अलीगढ़ आवास पर जन्मदिन की बधाई देने गया तो कहा,” दादा , आप सड़क मार्ग से दौरे कम किया करो। बहुत थकान होती है। अभी आपकी शताब्दी मनाना है।”हमलोग भोजन की टेबुल पर बैठे थे। वे ठठाकर हंस पड़े । मैनें कहा, “ हँसें क्यों? “ उन्होंने कहा ,” तुम्हारी बात पर हँसी आ गई।यह मेरे बस में है या तुम्हारे बस में?” तब मुझे अचानक याद आया कि दादा तो स्वयं एक महान ज्योतिषी हैं। उनकी गणना इतनी मज़बूत थी कि कभी ग़लत नहीं हुई।

उनके ज्योतिष ज्ञान को याद करते उनके अजीज रहे पंकज प्रसून ने कहा  की खुद नीरज कहते थे की एक बार ९४ साल पुरे कर लूँ तो फिर १०० तक ज़रूर जियूँगा

नॉएडा में पत्रकार अतुल श्रीवास्तव याद करते हुए कहते है हरदोई  के कवि सम्मेलन मे कृष्ण बिहारी नूर जी ने मेरा परिचय उनसे कराया था जब उन्होने पूछा कि ये जो बच्चा सभी को पेमेंट कर रहा है ये कौन है तो नूर जी ने पापा का नाम लेकर बताया उनका बेटा है उसके बाद कई बार मुलाकात हुई

नॉएडा से बाबा कानपुरी भावुक होते हुए कहते है की 1997 में अभिनंदन ग्रंथ प्रकाशित हुआ था। ग्रंथ के संपादक डॉ.अशोक मधुप थे। नीरज जी ने किसी के घर पर जब ग्रंथ पढ़ा तो उन्होंने तारीफ में एक चिट्ठी लिखी थी, वो चिट्ठी आज भी सहेज कर रखी है।

एनसीआर खबर के पालिटिकल एडिटर आशु भटनागर नीरज के बारे में अपने अनुभव शेयर करते हुए कहते है की यु तो पिताजी ने कई कवि सम्मेलनों में नीरज को कालागढ़ बुलाया लेकिन मुझको जब नॉएडा में एक पिता के तोर पर अपने पुत्र के एक अविस्राम्नीय पल मिला I २०१६ की बात है  नॉएडा में हुए कवि सम्मलेन में लोगो को लाटरी से सम्मान करना था और कमाल की बात ये रही खुद नीरज द्वारा निकाले गए पर्ची में हमारे सुपुत्र अथर्व का नाम था I मंच पर नीरज हमारे छोटे से बच्चे से बच्चों की तरह ही खेलने लगे I

वहीं एस्कार्ट के  डायरेक्टर  डा अतुल वर्मा दुःख प्रकट करते हुए कहते है की वो उनके  ममेरे नाना जी थे उनके साथ अनगिनत यादें जुडी हुई हैं किसी किस को याद करें बस आज उनको प्रणाम ही कर सकते है

नॉएडा की आवाज़ कहे जाने वाले डा अश्विनी शर्मा , समाज सेवी विक्रम सेठी, उपदेश श्रीवास्तव , अम्बुज सक्सेना , मनोज श्रीवास्तव एवं आप नॉएडा के महासचिव शैलेन्द्र बरनवाल   समेत शहर के तमाम लोगों ने नीरज को नमन किया।

 

एन सी आर खबर ब्यूरो

हम आपके भरोसे ही स्वतंत्र ओर निर्भीक ओर दबाबमुक्त पत्रकारिता करते है I इसको जारी रखने के लिए हमे आपका सहयोग ज़रूरी है I अपना सूक्ष्म सहयोग आप हमे 9654531723 पर PayTM/ GogglePay /PhonePe या फिर UPI : 9654531723@paytm के जरिये दे सकते है एनसीआर खबर.कॉम दिल्ली एनसीआर का प्रतिष्ठित और नं.1 हिंदी समाचार वेब साइट है। एनसीआर खबर.कॉम में हम आपकी राय और सुझावों की कद्र करते हैं। आप अपनी राय,सुझाव और ख़बरें हमें mynews.ncrkhabar@gmail.com पर भेज सकते हैं या 09654531723 पर संपर्क कर सकते हैं। आप हमें हमारे फेसबुक पेज पर भी फॉलो कर सकते हैं

Related Articles

Back to top button