दादरी कांड पर खुलकर बोले शायर मुनव्वर राना, कही तल्ख बातें

मुझे उर्दू अकादमी का चेयरमैन बनाने के पीछे वजह यह नहीं थी कि मैं उर्दू जानता हूं, बल्कि वजह यह थी कि मैं मुसलमान हूं। यही वजह रही कि मैंने बाद में चेयरमैन पद ठुकरा दिया। यह बात प्रख्यात शायर मुनव्वर राना ने कही।

वह एक होटल सभागार में पत्रकार वार्ता के दौरान पत्रकारों के सवालों का जवाब दे रहे थे। राना मेला गुघाल के सांस्कृतिक कार्यक्रमों की श्रंखला में आयोजित होने वाले मुशायरे में शामिल होने सहारनपुर पहुंचे थे।

मुनव्वर राना ने प्रदेश में उर्दू की बेहतरी के लिए सही कदम उठाए जाने की जरूरत बताई। उन्होंने प्रदेश की उर्दू अकादमी को गैरजरूरी बताया। कहा कि अकादमी बना देने से उर्दू का भला होने वाला नहीं है।

उन्होंने अकादमी को लेकर प्रदेश सरकार की मंशा पर गंभीर आरोप भी लगाए, जिसमें उन्होंने उर्दू अकादमी को अय्याशी का अड्डा तक कह डाला। यह भी कहा कि जिस दिन प्रदेश के मुसलमान सपा सरकार में शामिल मुस्लिम नेताओं के पीछे चलना छोड़ देंगे तथा लाल बत्ती वालों का गिरेबां पकड़ लेंगे, उसी दिन प्रदेश के मुस्लिमों के हालत सुधर जाएंगे।मुनव्वर राना ने बिहार में भी मुस्लिमों के हालात सुधार के लिए उन्होंने यही फंडा अपनाने की सलाह मुस्लिमों को दी। उन्होंने यूपी के नेताओं पर तल्ख टिप्पणी करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश में आजादी से पहले नेता पैदा हुए थे, मगर अब नेता नहीं दलाल पैदा हो रहे हैं।

उन्होंने टीवी पर प्रवचन देने वाले मौलानाओं को धर्म गुरु मानने से इंकार किया। उनका कहना था कि यह लोग टीवी चैनलों में जाकर गिड़गिड़ाते हैं। टीवी पर बैठकर मुस्लिमों को धर्म का पाठ पढ़ाते हैं, जबकि खुद खड़े होकर लघुशंका करते हैं।

पत्रकार वार्ता के दौरान एक ओर प्रख्यात शायर अनवर जलालपुरी भी मौजूद रहे। उन्होंने भारत और पाकिस्तान के वर्तमान हालातों पर खुलकर बात की। कहा कि भारत का दिल समंदर की तरह है, जिसमें हर कोई समा जाता है, मगर पाकिस्तान आज तक मुजाहिदों को अपना नहीं सका है।मुनव्वर राना ने ग्रेटर नोएडा में गोमांस के आरोप में हत्या कर दिए जाने की घटना के लिए राजनीतिक दलों को जिम्मेदार ठहराया। उन्होंने इसे कुछ दलों की 2017 के विधान सभा चुनावों की तैयारी का हिस्सा बताया।

उन्होंने कहा कि गाय काटने वालों के साथ ही गाय बेचने वालों के खिलाफ भी कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए, क्योंकि मां समान गाय को बेचना भी अपराध है। उन्होंने लव जेहाद आदि को भी राजनीतिक दलों की उपज बताया।

राना ने मुस्लिम नेता ओवैसी बंधुओं को कौम का विरोधी करार दिया। कहा कि ऐसे लोग अपने बयानों की वजह से कौम का हिमायती बनने का नाटक करते हैं, जिसकी वजह से मुस्लिमों को नुकसान भी उठाना पड़ता है।

उन्होंने ओवैसी की संपत्ति पर भी सवाल उठाए। कहा कि ओवैसी के पिता की संपत्ति सौ करोड़ की थी, आज उनके पास दस हजार करोड़ की संपत्ति है। यदि वह यूपी में चुनाव लड़ना ही चाहते हैं तो पहले दो हजार करोड़ रुपये जमानत के तौर पर जमा कराएं। खाली बयानबाजी से जनता को बेवकूफ न बनाएं।