वाराणसी को ‘स्मार्ट सिटी’ बनाने की दिशा में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी एक कदम और आगे बढ़ गए हैं। जापान दौरे पर दोनों देशों ने एक समझौते पर हस्ताक्षर किए, जिसके मुताबिक क्योटो शहर के अनुभव का इस्तेमाल करते हुए मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी को ‘स्मार्ट सिटी’ के रूप में विकसित किया जाएगा।
क्योटो जापान का स्मार्ट शहर है जो विरासत और आधुनिकता का संगम है। दोनों देशों के बीच भागीदार शहर संबद्धता समझौते पर हस्ताक्षर के साथ ही स्मार्ट विरासत शहर कार्यक्रम की शुरुआत हुई है।
साझीदार शहर संबंधी सहमति पत्र पर भारतीय राजदूत दीपा वाधवा और क्योटो शहर के मेयर दाईसाका कोदोकावा ने हस्ताक्षर किए।
इस समझौते के मौके पर मोदी और जापान के प्रधानमंत्री शिंजो एबे मौजूद थे जो भारत के प्रधानमंत्री से मिलने के लिए विशेष तौर पर टोक्यो से यहां आए थे।
इस मौके पर प्रधानमंत्री मोदी और उनके जापानी समकक्ष शिंजो आबे मौजूद थे। मोदी के पांच दिवसीय जापान दौरे पर पहुंचने के तुरंत बाद दोनों देशों ने इस सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किए।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता सैयद अकबरुद्दीन ने संवाददाताओं से कहा कि इस समझौते के तहत धरोहर के संरक्षण में सहयोग, शहर के आधुनिकीरण व कला, संस्कृति एवं शिक्षा के क्षेत्रों में सहयोग की बातें शामिल हैं।
अकबरुद्दीन ने बताया कि यह समझौता दोनों देशों के बीच स्मार्ट प्राचीन शहर कार्यक्रम के लिए एक रूपरेखा का काम करेगा। क्योटो जापान में बौद्ध संस्कृति से जुड़ा एक प्राचीन शहर है जो प्रधानमंत्री के इस दौरे का विशेष प्रतीक है क्योंकि मोदी भारत के शहरों का कायाकल्प करने का इरादा रखते हैं।