नई दिल्ली। मोदी के पीएम उम्मीदवार घोषित होने के बाद कर्णाटक के पूर्व मुख्यमंत्री वी एसयेदुरप्पा भाजपा में जल्द वापसी करना चाहते हैं। इसके लिए उन्होंने अपनी कोशिशें तेज कर दी हैं। इस सिलसिले में येद्दयुरप्पा ने जहां मोदी से सीधे संपर्क साधा है, वहीं लालकृष्ण आडवाणी, राजनाथ सिंह, अनंत कुमार और अरुण जेटली से मिलने के लिए अपने विशेष दूत विधायक लहर सिंह को दिल्ली भेजा है। उनकी सम्मानजनक घर वापसी की बात पर अगर आडवाणी, अनंत कुमार मान गए तो ठीक है अन्यथा वह अपनी पार्टी कर्नाटक जनता पक्ष को राजग का हिस्सा बनाने की संभावना पर भी विचार कर सकते हैं।
येद्दयुरप्पा के करीबी सूत्रों के अनुसार, ‘जब से मोदी पीएम उम्मीदवार घोषित हुए हैं, केजेपी नेता उस समय से ही भाजपा में जल्द वापसी के इच्छुक हैं। उन्होंने मोदी को उम्मीदवार बनने और जन्म दिन की बधाई देने के बहाने दो बार फोन कर इस सिलसिले में अपनी ओर से प्रयास शुरू कर दिया है।’ कर्नाटक के पूर्व मुख्यमंत्री के करीबियों का मानना है कि आडवाणी और अनंत कुमार केजेपी के भाजपा में विलय का विरोध कर रहे हैं। दोनों नेताओं से दो टूक बात करना जरूरी है। इसलिए येद्दयुरप्पा ने अपने करीबी एमएलसी लहर सिंह को दोनों से बात करने के नियुक्त किया है। केजेपी के एक नेता ने बताया कि लहर सिंह दिल्ली में है। जहां वह आडवाणी, राजनाथ, जेटली और अनंत कुमार से मिलकर येद्दयुरप्पा का संदेश देंगे और विलय के सवाल पर दो टूक बात करेंगे। सूत्रों का कहना है, ‘अगर अनंत कुमार को बेंगलूर दक्षिण से चुनाव जीतना है तो केजेपी नेता की बात मानना उनकी सियासी मजबूरी है। विलय के लिए आडवाणी की मंजूरी अहम है।’ येद्दयुरप्पा के एक नजदीकी के मुताबिक ‘यदि आडवाणी मान जाते हैं तो केजेपी का भाजपा में विलय हो जाएगा अन्यथा हम राजग का हिस्सा बनने के लिए भी तैयार हैं।’ येद्दयुरप्पा ने पिछले वर्ष दिसंबर में भाजपा से अलग होकर कर्नाटक जनता पक्ष नाम से अपनी पार्टी का गठन किया था।