बैकलेस गाउन पहने व चेहरे में मूर्छा की स्थिति में ऑपरेशन के लिए जा रहे मरीज अस्पतालों में एक आम दृश्य होता है। लेकिन यह दृश्य जल्द ही बदलने वाला है। अब ऑपरेशन टेबल से उठने के बाद मरीज आपको कोई गाना गुनगुनाते हुए नजर आएंगे और उनके चेहरे पर बेहोशी की झलक भी नहीं होगी।
पीटरबोरो सिटी हॉस्पिटल अपने मरीजों को ऑपरेशन के दौरान उनकी पसंदीदा फिल्म देखने का विकल्प दे रहा है। इस प्रक्रिया से उन्हें जनरल एनेस्थिेटिक से निजात पाने में मदद मिल जाती है। आर्थोपेडिक ऑपरेशन कराने वाले बुजुर्ग मरीजों को इस प्रक्रिया के दौरान कोई फिल्म या उनका पसंदीदा टीवी कार्यक्रम देखने की सुविधा प्रदान की जाती है जिससे उनका शरीर शिथिल एवं मन खुश हो जाता है और चिकित्सकों का काम जनरल के स्थान पर लोकल एनेस्थेसिया से ही चल जाता है।
यह कार्य कंसल्टेंट एनेस्थेटिस्ट डॉ ़ रिचर्ड ग्रिफिथ्स के मार्गदर्शन में किया जा रहा है जिनका कहना है कि इस प्रक्रिया से विशेषकर उन मरीजों को काफी लाभ मिल रहा है जिन्हें जनरल एनेस्थेटिक की डोज के रिएक्शन का जोखिम होता है। उनका कहना है कि अपनी पसंदीदा फिल्म देखने के दौरान मरीज काफी रिलेक्स हो जाते हैं। कुछ मरीजों ने तो यह भी बताया कि वे टीवी के कार्यक्रम में इस कदर खो गए थे कि उन्हें पता ही नहीं चला कि कब ऑपरेशन खत्म हो गया। हाल ही में किए गए कूल्हे के एक ऑपरेशन के दौरान पूरे समय मरीज साउंड ऑफ म्यूजिक फिल्म देखती रही जबकि घुटनों के रिवीजन के ऑपरेशन के लिए आया एक मरीज ऑपरेशन के दौरान बीबीसी नेचर की डाक्यूमेंट्री द ब्लू प्लेनेट देखने में मगन रहा, और उनका ऑपरेशन हो गया। वेरिंगटन की रहने वाली 75 वर्षीय आइरिस क्विरोलो पीटरबोरो में इस नई तकनीक का फायदा उठाने वाली पहली मरीज हैं। क्विरोलो गिर गई थीं जिसके कारण उनके कूल्हे की हड्डी में फ्रैक्कचर हो गया था जिसे दुरुस्त करने के लिए सर्जरी की आवश्यकता थी। उनका कहना है कि पूर्व में किए गए एक ऑपरेशन के दौरान जनरल एनेस्थेटिक से उन्हीं बुरी तरह रिएक्शन हो गया था इसलिए उन्हें सर्जरी के दौरान फिल्म देखने की सलाह दी गई।
उन्होंने बताया कि पहले एक बार ऑपरेशन के दौरान मुझे जनरल एनेस्थेटिक दिया गया था, जिसके प्रभाव से उबरने में मुझे काफी ज्यादा वक्त लगा था। यह अनुभव मेरे लिए काफी खौफनाक था और फिर इस अनुभव से गुजरना मेरे लिए बहुत भयावह था। इसलिए जब डॉ ़ ग्रिफिथ्स ने मुझसे कहा कि मरीजों को ऑपरेशन के दौरान टीवी देखने पर स्पाइनल एनेस्थेटिक की सुविधा दी जा सकती है तो मुझे बहुत खुशी हुई और मैंने तुरंत इसके लिए हामी भर दी। डॉ ़ ग्रिफिथ्स कुछ डीवीडी लेकर आए और मुझसे अपनी पसंदीदा फिल्म चुनने के लिए कहा तो मैंने साउंड ऑफ म्यूजिक देखने का फैसला किया, क्योंकि मैं इस फिल्म को बहुत पसंद करती हूं। मुझे इयरफोन पहनाया गया ताकि मैं फिल्म की आवाजें सुन सकूं। हालांकि बीच-बीच में मैं फिल्म देखना छोड़ कर डॉक्टर ग्रिफिथ्स से बातें करने लगती थी। यह एक बहुत अच्छा अनुभव था तथा मेरे पहले ऑपरेशन कई गुना अच्छा था।
उन्होंने बताया कि मुझे उम्मीद ही नहीं थी कि ऑपरेशन का यह भी एक तरीका हो सकता है और यदि भविष्य में मुझे कभी ऑपरेशन की आवश्यकता पड़ी तो मैं फिर से टीवी देखते हुए ही ऑपरेशन करवाना चाहूंगी।