केजरीवाल ऑफरः दूसरे दलों के अच्छे लोग AAP में आएं
दिल्ली में सरकार बनाने को लेकर जारी कशमकश के बीच आम आदमी पार्टी संयोजक अरविंद केजरीवाल ने अपनी पार्टी के वरिष्ठ नेता की राय को ‘निजी’ बताते हुए साफ कर दिया है कि वह किसी पार्टी के साथ समर्थन का लेन-देन करने को तैयार नहीं हैं।
आप नेता प्रशांत भूषण ने कहा था कि अगर भाजपा जन-लोकपाल बिल 29 दिसंबर तक पारित करने का वादा करती है, तो वह उसका समर्थन कर सकते हैं। हालांकि, उन्होंने साफ किया था कि यह उनका निजी मत है। बाद में उन्होंने इस बात से पूरी तरह यूटर्न ले लिया।
इसके बाद अरविंद केजरीवाल ने कहा, “भाजपा को समर्थन देने या लेने का सवाल ही नहीं उठता। पार्टी की राय है कि ऐसा कुछ नहीं होना चाहिए। भाजपा और कांग्रेस मिलकर सरकार क्यों नहीं बना लेतीं?”
उन्होंने कहा कि देश के अच्छे लोगों को अपनी-अपनी पार्टी छोड़कर आम आदमी पार्टी से जुड़ना चाहिए, क्योंकि हम ईमानदारी और साफ राजनीति में विश्वास रखते हैं।
केजरीवाल ने कहा, “यह लड़ाई हमारी नहीं है, जनता की है। आप बहुत छोटी है। हम सभी अच्छे लोगों को न्योता देते हैं। या तो वे लोग अपने यहां विरोध करें या हमारे यहां आ जाएं। हम हटकर उन्हें जगह देने के लिए तैयार हैं।”
अपने एक विधायक के खिलाफ दर्ज मामले पर भी उन्होंने बचाव किया। केजरीवाल ने कहा, “सीमापुरी से चुने गए आप विधायक धर्मेंद्र कोली पर लगा छेड़खानी का आरोप गलत है। हालांकि, इसके बावजूद उन्हें चेतावनी दी जाएगी कि इस तरह की हरकतें पार्टी में स्वीकार्य नहीं हैं।”
केजरीवाल ने कहा कि दिल्ली की जनता ने उन्हें विपक्ष में बैठने का जनादेश दिया है और वह उसका सम्मान करते हैं। इससे पहले कांग्रेस दिल्ली में नई सरकार बनाने के लिये आम आदमी पार्टी को बिना शर्त समर्थन देने का संकेत दिया है, लेकिन आप इसके लिये तैयार नहीं हैं।
कांग्रेस महासचिव और प्रभारी शकील अहमद ने आज कहा कि पार्टी में काफी लोगों की राय है कि पार्टी को आप को बिना शर्त समर्थन देना चाहिए लेकिन अभी इस बारे में कोई अंतिम निर्णय नहीं लिया गया है।