लखनऊ। मुजफ्फरनगर हिंसा को लेकर एकपक्षीय कार्रवाई और हिंदुओं के कथित उत्पीड़न के विरोध में पश्चिमी उत्तर प्रदेश में कुछ लोगों ने दशहरा के मौके पर रविवार को रावण, मेघनाद और कुंभकर्ण की जगह समाजवादी पार्टी (एसपी) के प्रमुख मुलायम सिंह यादव, मुख्यमंत्री अखिलेश यादव और कैबिनेट मंत्री आजम खान के पुतले दहन कर ‘काला दशहरा’ मनाया।
मुजफ्फरनगर हिंसा पर सरकार के रवैए से नाराज मेरठ, मुजफ्फरगर, बागपत, शामली जिलों के विभिन्न गांवों के लोगों ने मुलायम, अखिलेश और आजम के पुतले फूंकने का ऐलान किया था। प्रशासन और पुलिस की तरफ से रोकने के बहुत प्रयास किए गए, लेकिन लोगों ने पुलिस को चमका देते हुए पुतले जलाए।
मुजफ्फरनगर के सिखेड़ा गांव, हापुड़ के धौलाना गांव, बगपत के लिलौन, गोगवान जलालपुर, बुलंदशहर के गुलावठी गांव और बागपत के लथवाड़ा और मेरठ के खेड़ा गांव के ग्रामीणों ने रावण, मेगनाद और कुंभकर्ण की जगह मुलायम सिंह यादव, अखिलेश यादव और आजम खान के पुतले फूंककर एसपी सरकार के विरुद्ध जमकर नारेबाजी की।
लोगों का कहना है कि आजम की वजह से ही पश्चिमी उत्तर प्रदेश हिंसा की आग में झुलसा। बाद में उन्हीं के इशारे पर प्रशासन की ओर से एकतरफा कार्रवाई की गई। लोगों ने कहा कि आजम ने तो रावण को भी पीछे छोड़ दिया। अखिलेश और मुलायम भी बराबर के भागीदार हैं।